What is Affidavit? एफिडेविट क्या होता है? कहीं बार हमें किसी कार्य के लिए एफिडेविट बनाने की आवश्यकता होती है। जैसे कि हमारा ड्राइविंग लाइसेंस खो गया हो? या फिर हमारा कोई मुख्य दस्तावेज खो जाने पर हम उसे वापस से बनाना चाहते हैं इसके लिए हम पुलिस स्टेशन में एफ आई आर दर्ज करते हैं। डुप्लीकेट डॉक्यूमेंट फिर से बनाने के लिए हमें एफिडेविट की आवश्यकता होती है। ऐसे बहुत से लोग हैं जिन्हें या नहीं पता कि एफिडेविट क्या होता है? इसे कैसे बनाया जा सकता है? हम आज के हमारे इस आर्टिकल में इस बारे में जानकारी उपलब्ध कराएंगे की एफिडेविट क्या होता है? इसका इस्तेमाल किन किन कार्यों के लिए किया जा सकता है? एफिडेविट आप कैसे बना सकते हैं इस विषय पर भी हम अपने इस लेख में बात करने वाले हैं।
What is Affidavit? एफिडेविट क्या होता है?
एफिडेविट किसी व्यक्ति द्वारा किसी कार्य को करने अथवा ना करने की लिखित रूप से स्वेच्छा से ली गई तथात्मक घोषणा को Affidavit ( एफिडेविट) कहते हैं। हिंदी में इससे शपथ पत्र भी कहा जाता है। या आप इसे हलफनामा भी कह सकते हैं। यह घोषणा किसी ऐसे व्यक्ति के समक्ष ली जाती है जो विधि द्वारा उसके लिए अधिकृत हो, जैसे कि नोटरी पब्लिक या ओथ कमिश्नर।
किसी भी एफिडेविट में शपथ कर्ता शपथ लेकर चाहिए बयान देता है वह जो कुछ भी जानकारी दे रहा है वह सच है। इसके बाद वह अपना दस्तखत करता है और फिर उस बयान को नोटरी पब्लिक या ओथ कमिश्नर द्वारा अटेस्टेड करवाता है।
एफिडेविट का इस्तेमाल कहां कहां पर किया जाता है?
एफिडेविट का इस्तेमाल बहुत सारी जगह पर किया जाता है। या किसी विशेष काम के लिए आपको एफिडेविट बनवा करके जमा करने को कहा जाता है। जैसे कि जन्म प्रमाण पत्र बनवाने के लिए, अगर आप शादीशुदा है तो शादी का रजिस्ट्रेशन करवाने के लिए, अगर आपकी कोई डॉक्यूमेंट खो गई हो एवं आप उसका डुप्लीकेट डॉक्यूमेंट बनवाना चाहते हैं जैसे कि ड्राइविंग लाइसेंस तो भी आपको एफिडेविट मांगा जाता है। एफिडेविट बनवाने के बाद आपको एफिडेविट संबंधित अथॉरिटी के सामने इसे जमा करना होता है। लेकिन यदि आप का बयान गलत है या जानबूझकर कोई गलत बयान दिया गया है तो आप का दावा रद्द हो सकता है।
देखा जाए तो लोगों को किसी ना किसी कारण से अपनी जिंदगी में एक बार तो जरूर एफिडेविट बनवाने कोर्ट कचहरी के चक्कर लगाने पड़ते हैं। आप एफिडेविट नोटरी पब्लिक या ओथ कमिश्नर के यहां पर जाकर के शपथ ले सकते हैं और एफिडेविट बनवा सकते हैं। आपके द्वारा लिया गया शपथ या बयान की लिखित रजिस्ट्रेशन होती है एवं उस पर अधिकारी द्वारा अटेस्टेड करवाया जाता है। इसके बाद एफिडेविट का इस्तेमाल किया जाता है। लेकिन यह जानना जरूरी है कि एफिडेविट के द्वारा दिया गया बयान और जानकारी गलती नहीं होनी चाहिए। अन्यथा आपके एफिडेविट को रद्द किया जा सकता है।
गलत एफिडेविट बनवाने पर हो सकती है सजा।
अगर कोई व्यक्ति जानबूझकर या झूठा बयान देता है तो उसके खिलाफ कानूनी कार्रवाई करने का भी प्रावधान है। एफिडेविट के बारे में यह माना जाता है कि वह पूरी तरह से सही है, लेकिन कोई व्यक्ति किसी और के बदले में एफिडेविट पर दस्तखत करता है और उसका गलत इस्तेमाल करता है तो ऐसा करने वाले व्यक्ति के खिलाफ IPC की धारा -419 ( पहचान बदलकर के धोखा देना) के अंतर्गत कार्यवाही एवं मुकदमा चलाया जा सकता है। What is Affidavit?
Auth Act के तहत 1969 के धारा में निर्धारित किया गया है जो भी बयान एफिडेविट या शपथ पत्र में दिया गया है वह सच है। यदि किसी व्यक्ति द्वारा गलत एफिडेविट अदालती कार्रवाई के दौरान प्रस्तुत की जाती है तो अदालत ऐसे व्यक्ति के खिलाफ अदालत में झूठा सबूत या बयान पेश करने के मामले में मुकदमा चलाने का आदेश दे सकता है।
इसलिए, जब भी आप एफिडेविट बनाए तो हमेशा सही सही जानकारी दे। अन्यथा, गलत जानकारी देने पर आपके ऊपर कार्यवाही की जा सकती है। आप को जेल जाना पड़ सकता है।
एफिडेविट बनाने के लिए कितना शुल्क लगता है?
यह सवाल अक्सर लोग पूछते हैं कि एफिडेविट बनवाने के लिए कितना शुल्क अदा करना पड़ता है? हम आपको यह बता देना चाहते हैं कि हर राज्य के लिए अलग-अलग स्टांप ड्यूटी एक्ट बनाया गया है।
इसका मतलब यह है कि सभी राज्यों में आप जिस पेपर पर एफिडेविट बनवाते हैं उसके लिए आपको शुल्क अदा करना पड़ता है। अपनी जरूरत के मुताबिक आप सामान्य तौर पर ₹10 से ₹100 के स्टांप पेपर पर अपना शपथ पत्र या एफिडेविट बनवा सकते हैं।
एफिडेविट आप हिंदी व अंग्रेजी या अपने राज्य की भाषा में बनवा सकते हैं। लेकिन, ध्यान देने योग्य बात यह है कि अगर आप उच्च न्यायालय या सुप्रीम कोर्ट में एफिडेविट दायर करना चाहते हैं तो आपको अंग्रेजी में ही एफिडेविट बनवाने होती है।
एफिडेविट बनवाने के लिए लगने वाले शुल्क की बात करें तो यहां पर आपको ₹10 से लेकर ₹100 के स्टांप पेपर पर एफिडेविट बनवाना होता है। शपथ पत्र पर आपको टाइपिंग करवानी होती है। जिसे टाइपिंग करवाने के लिए ₹100 लगते हैं। इसके अलावा अगर आप किसी एजेंट को पकड़ते हैं तो वह आपसे कमीशन के तौर पर ₹150 से लेकर के ₹300 तक लेता है। इस तरह से देखा जाए तो आपको एफिडेविट बनवाने के लिए अधिकतम ₹500 तक खर्च करने पड़ सकते हैं।
एफिडेविट बनवाते वक्त किन-किन बातों का ख्याल रखें?
- एफिडेविट बनाते वक्त आप इस बात को लेकर के अस्वस्थ हो ले कि आप किस कारण के लिए एफिडेविट बनवा रहे हैं।
- कोर्ट फीस की उचित राशि की पुष्टि की जानी चाहिए।
- प्रत्येक बिंदु की शपथ लेने की विषय वस्तु को अलग-अलग पैरा में स्पष्ट रुप से लिखा जाना चाहिए।
- शपथ पत्र की सामग्री के सत्यापन को निर्धारित तरीके से ठीक से सत्यापित किया जाना चाहिए।
- शपथ पत्र का सत्यापन यादव शपथ आयुक्त द्वारा या नोटरी पब्लिक के द्वारा किया जाना चाहिए।
- शपथ पत्र बनाते वक्त आप इस बात का ध्यान रखें कि आपके द्वारा दी गई सारी जानकारी सही होनी चाहिए।
- अगर आपने गलत जानकारी दी है तो आप का शपथ पत्र रद्द हो सकता है एवं आप के खिलाफ कार्यवाही की जा सकती है।
एफिडेविट का इस्तेमाल किन किन जगहों पर किया जाता है?
कोई भी सरकारी दस्तावेज बनाने के लिए एफिडेविट का इस्तेमाल किया जा सकता है। या फिर आवेदक से एफिडेविट मांगा जा सकता है। हमने नीचे एक सूची बनाई है जहां पर ज्यादातर एफिडेविट मांगे जाते हैं।
- आय प्रमाण पत्र बनाने के लिए।
- जाति प्रमाण पत्र बनाने के लिए।
- हस्ताक्षर परिवर्तन करने के लिए।
- नाम में सुधार करने के लिए।
- डोमिसाइल सर्टिफिकेट बनाने के लिए।
- शिक्षा ऋण लेने के लिए।
- बैंक में डेथ क्लेम सेटेलमेंट के लिए।
- ड्राइविंग लाइसेंस बनवाने के लिए।
- शादी रजिस्ट्रेशन करवाने के लिए।
- कॉलेज या किसी विश्वविद्यालय में दाखिला के वक्त आपसे एफिडेविट मांगा जा सकता है।
- स्कॉलरशिप लेने के लिए।
- जमीन की खरीद बिक्री के वक्त भी एफिडेविट मांगा जा सकता है।